Wednesday, 18 March 2015

स्नान के लिए प्राकृतिक घरेलु पाउडर सुन्नी पिंडी बनाने की विधि


बाजार में कई पाउडर उपलब्ध हैं पर सुन्नी पिंडी एक ऐसी पारंपरिक पाउडर है जो आंध्र प्रदेश के लोगों द्वारा इस्तेमाल की जाती है| यह त्वचा से मृत कोशिकाएं हटाकर उसे मुलायम करने में मदद करती है| कई घरों में यह पाउडर साबुन की जगह पर इस्तेमाल की जाती है|

सुन्नी पिंडी
सामग्री

    हरे चने का आटा – २५० ग्राम
    चने की दाल – २५० ग्राम
    काबुली चना – २५० ग्राम
    ताज़ी पीसी हुई हल्दी – २५ ग्राम
    मुलतानी मिटटी – २०० ग्राम
    गुलाब की पंखुड़ियों का पाउडर – ३० ग्राम
    संतरे के छिलके का पाउडर – ३० ग्राम
    नीम के पत्तों का पाउडर – ३० ग्राम
    शती – ३० ग्राम
    चावल का आटा – ३० ग्राम
    गेहू का आटा – ३० ग्राम
    तुलसी का पाउडर – १० ग्राम
    ४-५ बादाम
    १ बड़ा चम्मच मेथी के बीज

ऊपर दी गयी सामग्री में से जितनी उपलब्ध हो वह इस्तेमाल की जा सकती है| इनसे मिश्रण को अच्छी खुशबु मिलती है और यह त्वचा से सभी प्रकार के दाग धब्बे मिटाकर मृत कोशिकाओं को हटाता है| यह सामग्री किसी भी आयुर्वेदिक भंडार या किराने की दूकान पर आसानी से मिल सकती है|

    हरे चने का आटा, चने की दाल का आटा और काबुली चने का आटा त्वचा से धुल, मिटटी, लगाया हुआ तेल और अतिरिक्त पानी हटाते हैं|
    मेथी के बीज मिश्रण के सभी घटकों को बांधे रखते हैं|
    नींबू से त्वचा पर से गहरे रंग की परत हटती है| तुलसी और नीम त्वचा की कई बिमारियों से रक्षा करते हैं|
    शती और गुलाब की पंखुड़ियाँ सुन्नी पिंडी के मिश्रण को अच्छी खुशबु देते हैं जिस कारण आप इस फेस पैक को घंटो तक अपने चेहरे पर सहन कर सकें|

सुन्नी पिंडी बनाने की विधि

    ताजा हरे चने, चना दाल और काबुली चने लेकर उन्हें धुप में २ दिन के लिए सुखाएं| फिर उन्हें पीसकर आटा बना लें| घर के मिक्सर के ब्लेड को नुकसान से बचाने के लिए बाहर की चक्की में पिसवाने की सलाह है|
    हरे चने का आटा, चने की दाल का आटा, काबुली चने का आटा, हल्दी और अन्य सामग्री मिलाकर यह मिश्रण कांच के बर्तन में अच्छी तरह से ढक्कन लगाकर संग्रहित करें|

इस्तेमाल करने का तरिका

    सुन्नी पिंडी को पानी, दूध, नींबू का रस, मसली हुई ककड़ी, टमाटर का रस या दही इनमे से किसी एक में मिलाएं और पेस्ट बनाएं|
    जिस भाग पर आपको सुन्नी पिंडी लगानी हो उस पर तील का तेल, नारियाल का तेल, जैतून का तेल या सरसों का तेल इनमे से किसी एक तेल से मालिश करें|
    तेल लगाने से सुन्नी पिंडी त्वचा से अच्छी तरह से चिपक जाती है|
    सुन्नी पिंडी को त्वचा पर सूखने के लिए छोड़ दें और सूखने पर पानी से धो डालें|
    सुन्नी पिंडी आपकी त्वचा से धुल, मिटटी हटाकर मृत कोशिकाओं को भी निकालती है| इससे आपकी त्वचा मुलायम, साफ़ और उजली दिखती है|
    सुन्नी पिंडी त्वचा में खून के बहाव को नियमित करती है|

अगर रोज संभव न हो तो हफ्ते में एक बार सुन्नी पिंडी का उपचार करें और अपनी त्वचा को साफ़ सुथरी और मुलायम पायें|

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